Thursday, July 18, 2013

ऐसी नीतियां बनाना जरूरी जो जल को पर्यावरण प्रणाली का हिस्सा मानें - हरीश रावत

नई दिल्ली: जल संसाधन मंत्रालय की संसदीय समिति की बैठक आज नई दिल्ली में जल संसाधन मंत्री श्री हरीश रावत की अध्यक्षता में हुई। श्री रावत ने बैठक में कहा कि अब आवश्यक रूप से ऐसी नीतियां बनाना जरूरी है जो जल को पर्यावरण प्रणाली का हिस्सा के रूप में स्वीकार करें। उन्होंने प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में बनी राष्ट्रीय जल संसाधन परिषद द्वारा स्वीकार की गई राष्ट्रीय जल नीति की चर्चा करते हुए कहा कि इसमें जल के समुचित इस्तेमाल और जल संरक्षण के लिए इसके बेहतर मांग प्रबंधन पर जोर दिया गया है। उन्होंने कहा कि इस लक्ष्य को पाने के लिए सभी हितधारकों को निरंतर समर्थन देना चाहिए। 

श्री रावत ने संसदीय समिति के सदस्यों को बताया कि केंद्रीय मंत्रीमंडल ने 2013 को जल संरक्षण वर्ष के रूप में अपनाने का निर्णय लिया है। उन्होंने बताया कि उनका मंत्रालय बड़े पैमाने पर जल जागरुकता अभियान चलाएगा जिसमें जल की महत्ता था इसके संरक्षण के बारे में लोगों को जागरुक बनाया जाएगा। 

बैठक में जल संसाधन सचिव श्री आलोक रावत और मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों सहित सांसद डा. प्रभा किशोर त्रिवेदी,श्री जियाराज सिंह,श्री गजेंद्र सिंह राजूखेड़ी,श्री मोहन जेना, श्री जी एस वसवराज, श्री प्रतापराव एन सोनवाने ,डा. प्रभा ठाकुर,डा. ज्ञान प्रकाश पिलानिया,श्री महेंद्र सिंह महरा और श्री गोवर्धन रेड्डी शामिल हुए।

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